अपराधियों का यार : हत्यारा हंडिया थाना प्रभारी बृज किशोर गौतम
आरोपी महेश पाण्डेय का 16 फरवरी 2024 की रात लगभग10 बजे धमकी मनोज पाण्डेय को पूरे परिवार के साथ जान से मारने की धमकी का ऑडियो ट्रांसक्रिप्ट
आरोपी महेश पाण्डेय : ज्ञान, ज्ञान, ज्ञान, ज्ञान। स्पीकर चालू कर ले, स्पीकर चालू कर ले। स्पीकर चालू कर ले।
मनोज पाण्डेय : स्पीकर काहे चालू कर लेई।
आरोपी महेश पाण्डेय : स्पीकर चालू कर ले। सारा रुपया-पैसा धरा का धरा रह जाएगा। हमार बर्बाद होए तो तोहई बर्बाद करई में हमई एक सेकंड न लागे।
मनोज पाण्डेय : ठीक बा न, जब तू धमकी दे थय;
आरोपी महेश पाण्डेय : तू सोच ले धय कि इ चीज़ बा तब हमई तोहार ऐसी-तैसी करई में एक मिनट न लागे, अगर हम आपन बर्बादी कई के घरे आए तो हम एक न देखब कि तोहार बर्बादी हमें कैसे करेई के बा?
मनोज पाण्डेय : तब कई ल बर्बादी।
आरोपी महेश पाण्डेय : तोहर रुपया क पैसा धरा क धरा रही जाए, तोहरे घरे में मातम छाये। तुम्हारे घर में मातम छाये और दूनउ एक आँखी वाली देखिही खाली। जवन चमैनी की कोखी तोनहन पैदा भ हय। खाली एक आँखी देखबे।
मनोज पाण्डेय : थोड़ा जवान सीधा कई के बोलअ।
आरोपी महेश पाण्डेय : एक आँखी देखबे। हम देखाउब, हम देखाउब।
मनोज पाण्डेय : जवान सीधा कई के थोड़ा बोलअ।
आरोपी महेश पाण्डेय : हम देखाउब। हम अगर, हम यह रिसी घरे चला आये न त, त तोंहन क जितना- जितना तमाशा बा न तोंहन क तहसील से लेइके, दुनियादारी से लईके, सारी रूपया-पैसा धरा क धरा रही जाए। हमार दुई लाख रुपया तोर महतारी लिहेबा, असिल क रुपियहा है त देते काहे नाही। तोर जगह जमीन हड़पे हई हम।
मनोज पाण्डेय : कब्ज़ा किहे हय।
आरोपी महेश पाण्डेय : कौन कब्जा किहे हई मादरचोद। का कब्ज़ा किहा तोर।
मनोज पाण्डेय : हमारा कब्जा किहे हय, तोर-तोर मत कहअ।
आरोपी महेश पाण्डेय : दोई लाख रुपया दीहे हई।
मनोज पाण्डेय : लिखे हय,अपने भाभी क बनवाए हय।
आरोपी महेश पाण्डेय : हम बनवाए हई अपने भाभी क, तोर महतारी बनवाएस। तोर म्हतारी बनवाएस
मनोज पाण्डेय : म्हातारी बनवाएस?
आरोपी महेश पाण्डेय : तई हमरे परिवार के लईके जौन उड़ रहा हए लेके जो उड़ रहा है ना, तोर सारी दुनियादारी हम आए के बाद हम खत्म कई देब।
मनोज पाण्डेय : तू आई जा न।
आरोपी महेश पाण्डेय : सारी दुनियादारी आई के बाद हम खत्म कई देब।
मनोज पाण्डेय : एकदम खत्म कई द।
आरोपी महेश पाण्डेय : तई जवन चाह ध ए महाभारत होई, महाभारत हम कई के छोड़ब हम।
मनोज पाण्डेय : ठीक बा न।
आरोपी महेश पाण्डेय : तोरे घरे में महाभारत करब न हम।
मनोज पाण्डेय : ठीक बा न। तू आवअ मर्डर कई द न आवअ।
आरोपी महेश पाण्डेय : तई हमरे परिवार के ऊपर हमला करबे हम देखब।
मनोज पाण्डेय : तू मर्डर कई द न आवअ। तू मर्डर कई द न आवअ।
आरोपी महेश पाण्डेय : तई एक आखी क लई क महतारी बाप तई तमाशा कई रहा हए।
मनोज पाण्डेय : थोड़ा जवान सीधा कई ल अ।
आरोपी महेश पाण्डेय : तोहार बाप जौने दिन पैदा भ रहा उही दिन महतारी मर गई रही। और तोर महतारी कौने कोखे पैदा भई बा तोके मालूम बा?
मनोज पाण्डेय : थोड़ा जवान सीधा कई ल अ।
आरोपी महेश पाण्डेय : तोर महतारी कौने कोखे पैदा भई बा तोके मालूम बा?
मनोज पाण्डेय : ठीक बा, ठीक बा तू मर्डर करअ छोड़अ।
What's Your Reaction?






