प्रख्यात शिक्षाविद, विचारक डॉ॰ विजय बहादुर सिंह एवं डॉ॰ मीरा सिन्हा को शिक्षा सम्मान

अकादमिक पत्रिका ‘मुक्तांचल’ की संपादक व शिक्षाविद डॉ. मीरा सिन्हा एवं प्रख्यात शिक्षाविद, विचारक डॉ. विजय बहादुर सिंह को राष्ट्रीय स्तर पर एवं सावित्री गर्ल्स कॉलेज की पूर्व विभागाध्यक्ष डॉ. मीरा सिन्हा को पश्चिम बंगाल राज्य स्तर पर सांस्कृतिक पुनर्निर्माण मिशन के ‘प्रो. कल्याणमल लोढ़ा-लिली लोढ़ा शिक्षा सम्मान 2024’ से सम्मानित किया गया।

Dec 31, 2024 - 16:37
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प्रख्यात शिक्षाविद, विचारक डॉ॰ विजय बहादुर सिंह एवं डॉ॰ मीरा सिन्हा को शिक्षा सम्मान
शिक्षा सम्मान से सम्मानित होते प्रख्यात शिक्षाविद, विचारक डॉ. विजय बहादुर सिंह

प्रख्यात शिक्षाविद, विचारक डॉ॰ विजय बहादुर सिंह एवं डॉ॰ मीरा सिन्हा को शिक्षा सम्मान

अकादमिक पत्रिका मुक्तांचलकी संपादक व शिक्षाविद डॉ. मीरा सिन्हा एवं प्रख्यात शिक्षाविद, विचारक डॉ. विजय बहादुर सिंह को राष्ट्रीय स्तर पर एवं सावित्री गर्ल्स कॉलेज की पूर्व विभागाध्यक्ष डॉ. मीरा सिन्हा को पश्चिम बंगाल राज्य स्तर पर सांस्कृतिक पुनर्निर्माण मिशन के प्रो. कल्याणमल लोढ़ा-लिली लोढ़ा शिक्षा सम्मान 2024से सम्मानित किया गया। यह सम्मान कोलकाता में 26 दिसंबर 2024 से शुरू होने वाले 30वें हिंदी मेला में प्रत्येक को सम्मान स्वरूप 25 हजार की राशि, शाल और श्रीफल के साथ प्रदान की गई। हिंदी मेला का यह सम्मान कलकत्ता विश्वविद्यालय के हिंदी विभाग में लंबे समय तक अध्यक्ष रहे और हिंदी के प्रचार-प्रसार के लिए विपुल काम करने वाले प्रो. कल्याणमल लोढ़ा और उनकी पत्नी लिली लोढ़ा की स्मृति में उनकी सुपुत्री सुषमा लोढ़ा के सौजन्य से हर वर्ष दिया जाता है।

2024 के शिक्षा सम्मान से सम्मानित डॉ. विजय बहादुर सिंह ने लंबे समय तक मध्य प्रदेश में अध्यापन के साथ विपुल लेखन किया है। वे भारतीय भाषा परिषद के निदेशक रह चुके हैं। उनकी कुछ प्रमुख पुस्तकें हैं- आलोचना वहत्रयी’, ‘नागार्जुन का रचना संसार’, ‘महादेवी के काव्य का नेपथ्य’, ‘पृथ्वी का प्रेमगीत’, ‘जयशंकर प्रसादआदि।

डॉ. मीरा सिन्हा ने सावित्री गर्ल्स कॉलेज व कलकत्ता विश्वविद्यालय कोलकाता में लंबे समय तक अध्यापन के साथ पिछले 12 वर्षों से निरंतर एक अकादमिक साहित्यिक पत्रिका मुक्तांचलका संपादन कर रही हैं। वे कला और संस्कृति के क्षेत्र में विशेष रुचि और सक्रियता के कारण जानी जाती हैं। दोनों पुरस्कृत शिक्षकों को वर्तमान हिंसा और साहित्यिक परंपराएँ विषय पर आयोजित राष्ट्रीय संगोष्ठी के दिन 31 दिसंबर 2024 को मानिक बच्छावत मंच, फेडरेशन हाल सोसायटी में सम्मानित किया गया।

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सुशील कुमार पाण्डेय मैं, अपने देश का एक जिम्मेदार नागरिक बनने की यात्रा पर हूँ, यही मेरी पहचान है I